वेस्टइंडीज ने भारत को आठ विकेट से हराकर श्रृंखला जीती
भारत को बल्लेबाजों के निराशाजनक प्रदर्शन से रविवार को यहां खराब मौसम से प्रभावित पांचवें और अंतिम टी20 अंतरराष्ट्रीय में वेस्टइंडीज से आठ विकेट से हारकर श्रृंखला 2-3 से गंवानी पड़ी।
वेस्टइंडीज ने इस तरह 2017 के बाद भारत के खिलाफ पहली टी20 अंतरराष्ट्रीय श्रृंखला जीती। अंतिम मैच की जीत में ब्रैंडन किंग स्टार रहे जिनकी नाबाद 85 रन की पारी में पांच चौके और छह छक्के जड़े थे। यह उनका टी20 अंतरराष्ट्रीय में सवश्रेष्ठ स्कोर भी है।
कप्तान हार्दिक पंड्या की टीम ने 0-2 से पिछड़ने के बाद वापीस करते हुए श्रृंखला 2-2 से बराबर की लेकिन खिलाड़ी निर्णायक मुकाबले में लड़खड़ा गये।
सूर्यकुमार यादव (61 रन) के श्रृंखला में दूसरे अर्धशतक की मदद से टॉस जीतकर बल्लेबाजी करने उतरी भारतीय टीम ने बल्लेबाजों के लचर प्रदर्शन के बाद नौ विकेट गंवाकर 165 रन बनाये।
पिच पर स्ट्रोक्स लगाना आसान नहीं था, फिर भी सूर्यकुमार ने 45 गेंद की पारी के दौरान चार चौके और तीन छक्के जड़े।
इस लक्ष्य का पीछा करने उतरी वेस्टइंडीज ने तेज शुरुआत की और किंग (55 गेंद) तथा विकेटकीपर बल्लेबाज निकोलस पूरन (47 रन,35 गेंद, एक चौका, चार छक्के) के साथ दूसरे विकेट के लिए 72 गेंद में 107 रन की भागीदारी से दो ओवर शेष रहते दो विकेट पर 171 रन बनाकर जीत हासिल की।
हार्दिक ने पावरप्ले में चार गेंदबाजों को आजमाया और पहली सफलता दिलायी अर्शदीप सिंह ने।
और वेस्टइंडीज ने काइल मेयर्स (10 रन) विकेट दूसरे ओवर में गंवा दिया जिन्हें अर्शदीप ने मिडऑफ पर जायसवाल के हाथों कैच आउट कराया।
लेकिन पूरन और किंग ने वेस्टइंडीज के लिए पावरप्ले में छह छक्कों ओर तीन चौकों से एक विकेट गंवाकर 61 रन बनाये।
वेस्टइंडीज ने इन दोनों बल्लेबाजों की बदौलत 10 ओवर में एक विकेट पर 96 रन बना लिये थे।
किंग ने 13वें ओवर की तीसरी गेंद पर युजवेंद्र चहल पर एक हाथ से लांग ऑफ पर छक्का जड़कर अपना अर्धशतक पूरा किया जिसके बाद आसमान में बिजली चमकने से खिलाड़ी मैदान से बाहर आ गये। मैच में यह तीसरी बाधा थी और वेस्टइंडीज का स्कोर एक विकेट पर 117 रन था और टीम डकवर्थ लुईस पद्धति से आगे थी। डीएलएस के अनुसार इस समय बराबरी का स्कोर 91 रन होता।
फिर जब मैच शुरु हुआ था तो चहल ने अपना ओवर पूरा किया और तिलक वर्मा को गेंदबाजी पर लगाया गया जिन्होंने पूरन को आउट कर अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में पहला विकेट लिया तथा पूरन और किंग के बीच दूसरे विकेट के लिए 107 रन की भागीदारी का भी अंत हुआ।
इससे पहले भारतीय पारी के दौरान दो बारिश की आंख मिचौली होती रही जिससे दो बार मैच थोड़ी देर के लिए रोकना पड़ा। भारतीय टीम की शुरुआत निराशाजनक रही। उसने पहले दो ओवर में अपने दोनों सलामी बल्लेबाजों के विकेट गंवा दिये थे।
बायें हाथ के स्पिनर अकील हुसैन ने पहले ओवर में यशस्वी जायसवाल (05) और दूसरे ओवर में शुभमन गिल (09) के विकेट लेकर भारत को दोहरे झटके दिये।
पिछले मैच में 84 रन की पारी खेलने वाले जायसवाल बैकफुट पर जाकर शॉट खेलने की कोशिश में हुसैन को ही कैच देकर पवेलियन पहुंचे जबकि गिल उनकी फुल लेंथ गेंद को स्वीप करने के प्रयास में पगबाधा आउट हुए जिन्होंने चौथे टी20 अंतरराष्ट्रीय में 77 रन की पारी खेली थी।
तिलक ने छठे ओवर में तीन चौके और एक छक्के से 19 रन जोड़े। इससे पावरप्ले में दो विकेट गंवाने के बावजूद भारत ने 51 रन बना लिये।
बड़ी पारी खेलने के लिए उम्मीदें सूर्यकुमार यादव और तिलक वर्मा की जोड़ी पर लगी थीं।
लेकिन आठवें ओवर में भारत को 66 रन पर तीसरा झटका लगा जब रोस्टन चेस ने तिलक (27 रन, 18 गेंद, तीन चौके, दो छक्के) को अपनी ही गेंद पर कैच आउट किया जिसके लिए तीसरे अंपायर की मदद ली गयी।
सूर्यकुमार और संजू सैमसन ने भारत को 10 ओवर में 86 रन तक पहुंचा दिया।
सैमसन ने फिर निराश किया और खराब फुटवर्क के कारण फिर सुनहरे मौके को गंवा बैठे। 11वें ओवर में रोमारियो शफर्ड की गेंद पर विकेटकीपर निकोलस पूरन को कैच देकर 13 रन बनाकर आउट हुए।
कप्तान हार्दिक पंड्या क्रीज पर थे। दबाव के कारण 10वें से 14वें ओवर तक कोई बाउंड्री नहीं लगी जिससे 14 ओवर तक स्कोर चार विकेट पर 102 रन था।