WhatsApp Groups के लिए आया धमाकेदार फीचर, ग्रुप पार्टिसिपेंट्स को मिलेगी ये बड़ी पावर
Meta मेटा के स्वामित्व वाला मैसेजिंग प्लेटफॉर्म WhatsApp कथित तौर पर एंड्रॉइड बीटा पर ग्रुप चैटिंग में नए मैसेज पार्टिसिपेंट्स के लिए रीसेंट हिस्ट्री शेयरिंग फीचर पर काम कर रहा है. WABetaInfo की रिपोर्ट के अनुसार, इस फीचर के लिए, व्हाट्सएप द्वारा ‘रीसेंट हिस्ट्री शेयरिंग’ नाम से ग्रुप के लिए एक नई सेटिंग ऐड की जा सकती है.
यह फीचर किसी नए यूजर्स के शामिल होने से 24 घंटे पहले ग्रुप में भेजे गए मैसेजेस को ऑटोमैटिकली शेयर करेगा जिससे यूजर को पता चल सकेगा कि हाल फिलहाल में क्या बातचीत हुई है. इससे यूजर को उस ग्रुप के बारे में समझने में मदद मिलेगी साथ ही साथ वो प्रो एक्टिव तरीके से लोगों के साथ जुड़ पाएगा.
क्यों खास है ये दमदार फीचर
इस फीचर के साथ, यूजर्स उन मैसेजेस को पढ़ सकेंगे जो ग्रुप में शामिल होने से पहले भेजे गए थे, इस फीचर का मकसद यूजर्स के ग्रुप चैटिंग एक्सपीरियंस को और भी ज्यादा बेहतर बनाना है. रिपोर्ट में कहा गया है कि हालिया हिस्ट्री शेयरिंग फीचर मौजूदा समय में डेवलपमेंट स्टेज में है, ऐसे में कुछ समय बाद ही इसके आने की उम्मीद है.
पिछले हफ्ते, ऐसा बताया गया था कि कि मैसेजिंग प्लेटफॉर्म ने एक ऐसा फीचर रोल आउट करना शुरू कर दिया है जो यूजर्स को को एंड्रॉइड बीटा पर एआई स्टिकर बनाने और शेयर करने की अनुमति देता है. इस महीने की शुरुआत में, मेटा के स्वामित्व वाले प्लेटफॉर्म ने एंड्रॉइड बीटा पर एक नया मल्टी-अकाउंट फीचर जारी किया था, जो उपयोगकर्ताओं को ऐप में अडिशनल अकाउंट जोड़ने की अनुमति देता है.
यह सुविधा उपयोगकर्ताओं को अपनी निजी चैट, कार्य वार्तालाप और अन्य चैट सभी को एक एप्लिकेशन में रखने में मदद करती है। यह भी बताया गया कि कंपनी ने एंड्रॉइड बीटा पर अकाउंट वेरिफिकेशन के लिए एक नए पासकी फीचर पर काम करना शुरू कर दिया है।
पासकी संख्याओं या अक्षरों का एक छोटा अनुक्रम है जिसका उपयोग उपयोगकर्ताओं की पहचान सत्यापित करने के लिए किया जाता है। यह एक प्रकार के सुरक्षा कोड के रूप में भी कार्य करता है जो यह सुनिश्चित करता है कि केवल अधिकृत उपकरणों को ही सत्यापित किया जा सकता है।