हर साल रामनवमी पर ‘सूर्य तिलक’ से सुशोभित होगा रामलला का मस्तक, 6 मिनट तक दिखेंगा भव्य नजारा
लंबे समय के इंतजार के बाद अब वो दिन आ ही गया जिसका सभी को बेसर्बी से इंतजार था। आज पूरे विधा-विधान से अयोध्या के राममंदिर में गर्भगृह में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा हो गई है। पूरा देश राम भक्ति में डूबा हुआ है। देश के हर क्षेत्र में जय श्री राम के नारे लग रहे हैं। बता दें कि भव्य अयोध्या राम मंदिर में एक विशेष सूर्य तिलक तंत्र है, जिसे ऐसे डिजाइन किया गया है कि हर साल श्रीराम नवमी के दिन दोपहर के समय सूर्य की किरणें भगवान राम की मूर्ति के माथे पर लगभग 6 मिनट तक पड़ेंगी।
आमतौर पर रामनवमी का पर्व मार्च या अप्रैल में हिंदू कैलेंडर के पहले महीने के नौवें दिन मनाई जाती। ये दिन भगवान विष्णु के सातवें अवतार भगवान राम के जन्मदिन का प्रतीक है। अब प्राण प्रतिष्ठा के बाद अयोध्या के राम मंदिर के लिए रामनवमी और भी खास होगी, जब सूर्य की किरणों से रामलला का मस्तक प्रकाशमान होगा।
विज्ञान और प्रौद्योगिकी मंत्री ने एक बयान में कहा कि बेंगलुरु में भारतीय खगोल भौतिकी संस्थान ने इस खास डिजाइन को तैयार करने में सहायता की है। उन्होंने कहा, “गियरबॉक्स और परावर्तक लेंस की व्यवस्था इस तरह की गई है कि शिखर के पास तीसरी मंजिल से सूर्य की किरणों को सीधे गर्भ गृह पर प्रकाशमान होंगी।”