आज प्रस्तुत केंद्रीय बजट पर भिलाई स्टील मजदूर सभा (एटक) के महासचिव का. विनोद कुमार सोनी ने एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कहा कि बजट 2024-25 एक विश्वासघात का दस्तावेज है।
बजट से मजदूरों, किसानों, बेरोजगारों और वंचितों को कोई उम्मीद नहीं मिलती है।
यह छात्रों, महिलाओं और बुजुर्गों को धोखा देता है।
यह एक और अमीरों और कॉर्पोरेट के पक्ष में बजट है,
एक खोखला बजट है।
कीमतों को नियंत्रित करने के लिए कोई रोडमैप या प्रतिबद्धता नहीं है।
श्रमिकों के वेतन वृद्धि या गारंटीकृत मजदूरी की कोई बात नहीं की गई है। उनके सुरक्षा उपायों या सामाजिक सुरक्षा कवरेज के बारे में कुछ नहीं कहा गया। बजट असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के लिए कुछ भी नहीं देता है जो कार्यबल का 90% से अधिक हिस्सा हैं।
बुनियादी ढांचे के निर्माण के नाम पर निजी क्षेत्र को सबसे ज्यादा फायदा फायदा पंहुचाने वाला है।
विदेशी कॉरपोरेट्स पर टैक्स 40 से घटाकर 35 प्रतिशत किया गया। कॉरपोरेट्स टैक्स नहीं बढ़ाया गया, न ही संपत्ति कर और न ही विरासत कर लगाया गया।
वित्तीय स्थिति को संभालना मुश्किल होगा और एक बार फिर गरीब, निम्न और मध्यम वर्ग के परिवारों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा, जब कीमतें बढ़ेंगी और विभिन्न वस्तुओं पर अधिक उपकर लागू होगा।
इंकम टैक्स स्लैब में एक छोटा सा झुनझुना पकड़ा कर कर्मचारियों को अपनी ओर आकर्षित करने का प्रयास किया है।