सीजीपीएससी और शासन को उच्च न्यायालय का एक और नोटिस
छत्तीसगढ़ में राज्य लोक सेवा आयोग का विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है… इसी बीच मंगलवार को बिलासपुर से एक नई खबर इस विवाद से जुड़ी सामने आई है… दरअसल सीजीपीएससी अभ्यर्थी टेकराम नाग को मुख्य परीक्षा और इंटरव्यू दिलाने के बाद 728 अंक प्राप्त हुए थे… और सीजीपीएससी 2022 में चयनित अंतिम अभ्यर्थी के कुल अंक 729.5 थे… 6 सितंबर को परिणाम आने के बाद टेक राम ने इसे अपने भाग्य का लिखा मान लिया था… लेकिन 15 सितंबर को सीजीपीएससी ने मुख्य परीक्षा के आंसर शीट अपनी वेबसाइट पर जारी किए… जिसे देखकर टेक राम को जानकारी मिली कि मुख्य परीक्षा के चौथे प्रश्न पत्र में पूछे गए 12वें प्रश्न में उसने प्रश्न का सही उत्तर दिया है… लेकिन लोक सेवा आयोग ने उसे प्रश्न को अनुत्तरित मान लिया है… अर्थात आयोग का कहना है कि अभ्यर्थी ने उस प्रश्न का उत्तर दिया ही नहीं… इसी बात को लेकर अभ्यर्थी ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर की थी… जिस पर आज बेंच ने सुनवाई करते हुए राज्य शासन और राज्य लोक सेवा आयोग को नोटिस जारी करके कर सप्ताह के अंदर जवाब देने और जांच पूरी होने तक अभ्यर्थी के अंकों के आधार पर एक पद रिक्त रखने के निर्देश दिए हैं… याचिकाकर्ता के अधिवक्ता का कहना है कि… यदि इस उत्तर के लिए याचिकाकर्ता को 10 में से दो अंक भी मिले होते… तो उसका चयन हो जाता… लेकिन तीन चरणों में मुख्य उत्तर पुस्तिका की जांच होने के बाद भी एक प्रश्न का उत्तर लिखे होने के बावजूद अनुत्तरित घोषित करना कहीं ना कहीं उस अभ्यर्थी के अधिकारों का हनन है